रेलवे पुलिस फोर्स के रिश्वत मांगने वाले प्रधान आरक्षक को 4 वर्ष का सश्रम कारावास की हुई सजा,विशेष न्यायालय भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम जफर इकबाल की अदालत में सुनाया फैसला
रिपोर्टर सीमा कैथवास
विशेष लोक अभियोजक लोकायुक्त दिनेश कुमार यादव द्वारा प्रकरण में की गई सशक्त पैरवी….
नर्मदापुरम । रामजी बाबा मेले में मनिहारी का सामान बेचने वाले युवक को होशंगाबाद रेलवे स्टेशन पर आरपीएफ के हेड कांस्टेबल ने पकड़कर केस बना दिया था और उसका मल्हारी का सामान जप्त कर लिया था। जिसके एवज में प्रधान आरक्षक ₹1000 की रिश्वत मांग रहा था। फरियादी ने मामले की शिकायत लोकायुक्त पुलिस से की थी। जिसके बाद लोकायुक्त पुलिस टीम ने हेड कांस्टेबल को रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा था। उक्त मामले में उक्त मामले में शनिवार 23 दिसंबर को जिला अदालत नर्मदापुरम के विशेष न्यायाधीश जफर इकबाल (विशेष न्यायालय भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम) की अदालत ने आरोपी जितेंद्र कुमार वर्मा को धारा-7 भ्र.नि.अधि. में 04 वर्ष का सश्रम कारावास एवं धारा-13(1)(डी) सहपठित धारा 13(2) भ्र.नि.अधि. में 04 वर्ष का सश्रम कारावास एवं कुल 2000/- रूपये अर्थदंड से दंडित किया है। उक्त प्रकरण में विशेष लोक अभियोजक लोकायुक्त दिनेश कुमार यादव द्वारा फरियादी की ओर से सशक्त पैरवी की गई।
घटना के बारे में जिला अभियोजन अधिकारी राजकुमार नेमा ने बताया कि प्रकरण का फरियादी शिवकुमार यादव मनहारी का सामान घूम-फिरकर बेचने का काम करता था।उसके द्वारा लोकायुक्त में शिकायत की गयी थी कि वह रामजी बाबा मेला में सामान बेचने के लिये गया था। आरपीएफ पुलिस होशंगाबाद के प्रधान आरक्षक जितेंद्र कुमार वर्माजी ने पकड़कर केस बनाकर मनहारी का सामान जप्त कर लिया है और सामान छोड़ने के एवज में 1000 रूपये मांग रहे है। लोकायुक्त के निरीक्षक अमरेश बोहरे द्वारा जॉच की गयी, जॉंच के दौरान फरियादी शिवकुमार के द्वारा आरोपी जितेंद्र कुमार वर्मा से वार्तालाप रिकॉर्ड की गयी। वार्तालाप में पाया गया कि जितेंद्र कुमार वर्मा के द्वारा 1000 रूपये की मांग की जा रही है। फरियादी शिवकुमार 900 रूपये देने के लिये तैयार हुआ, जिसके बाद लोकायुक्त भोपाल के ट्रेप दल के द्वारा जितेंद्र कुमार वर्मा को दिनांक 27 फ़रवरी 2018 को फरियादी शिवकुमार से 900 रूपये लेतेे हुए रंगे हाथ पकड़ा। ट्रेप दल का नेतृत्व लोकायुक्त निरीक्षक अमरेश बोहरे द्वारा किया गया। प्रकरण की विवेचना श्री अमरेश बोहरे के द्वारा की गयी तथा प्रकरण की अग्रिम विवेचना निरीक्षक श्री संजय शुक्ला ने किया, विवेचना उपरांत आरोपी जितेंद्र कुमार वर्मा के विरूद्ध अभियोग पत्र विशेष न्यायालय नर्मदापुरम के समक्ष पेश किया गया। अभियोजन द्वारा विचारण के दौरान 13 साक्षियों के कथन कराये गये। न्यायालय ने अभियोजन के द्वारा प्रस्तुत साक्ष्य एवं तर्क पर विचार करते हुए आरोपी को रिश्वत मांगने एवं लेने के आरोप में दोषी पाते हुए दोनो ही धाराओं में 04-04 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 1000 -1000रूपये के अर्थदण्ड से दंडित किया ।
प्रकरण में शासन की ओर से विशेष लोक अभियोजक लोकायुक्त दिनेश कुमार यादव नर्मदापुरम द्वारा सशक्त पैरवी की गई। उक्त जानकारी जिला अभियोजन कार्यालय मीडिया प्रभारी
नर्मदापुरम द्वारा दी गई है।