जिला अधिवक्ता संघ के अधिवक्तागण न्यायालय कार से पूर्णता विरत रहेंगे 31 मार्च तक :
सचिव मनोज जराठे
सीमा कैथवास की रिपोर्ट
नर्मदापुरम। हाइकोर्ट के 25 आपराधिक व सिविल प्रकरणों का 66 दिनों में निराकरण करने के आदेश का अधिवक्तागण विरोध करते चले आ रहे है। जिला एवं तहसील स्तर पर आदेश वापसी की मांग को लेकर अधिवक्तागणों का कार्य से विरत रहने के निर्णय के समर्थन में मध्यप्रदेश राज्य अधिवक्ता परिषद भी आ गया है। नर्मदापुरम अधिवक्ता संघ अध्यक्ष केके थापक ने बताया कि मप्र राज्य अधिवक्ता परिषद अध्यक्ष प्रेम सिंह भदोरिया ने उक्त आदेश वापस लेने की मांग को लेकर 23 मार्च से 25 मार्च तक कलम बंद कार्य से विरत रहने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि दो दिनों में यदि निर्णय वापस नहीं हुआ तो 26 मार्च को साधारण सभा की बैठक आहूत कर अगली रणनीति बनाई जाएगी । अधिवक्ता संघ सचिव मनोज जराठे ने बताया कि नर्मदापुरम जिला अधिवक्ता संघ के अधिवक्ता गण 23 मार्च से 31 मार्च तक न्यायालीन कार्य से पूर्णतः विरत रहेंगे। उन्होंने बताया कि इस संबंध में प्रधान जिला व सेंशन न्यायाधीश आलोक अवस्थी को ज्ञापन के माध्यम अवगत कराया है। श्री जराठे ने कहा कि सभी पहले अधिवक्ता है और मप्र राज्य अधिवक्ता परिषद के सदस्य है इसलिए सभी अधिवक्ता परिषद के निर्णय का सम्मान करते हुए कार्य से विरत रहकर एकता का परिचय देवें नहीं तो अधिवक्ता संघ की ओर से अनुशासनात्मक कार्यवाही की जावेगी।